
रिपोर्टर — सुरज पुरेना
बिलासपुर / सरकंडा थाना पुलिस की कार्यशैली एक बार फिर सवालों के घेरे में है। विभाग के ही हेड कांस्टेबल प्रकाश दुबे को अपनी पुश्तैनी जमीन में धोखाधड़ी का मामला दर्ज कराने 2 माह 10 दिन तक थाने के चक्कर काटने पड़े। थक-हारकर उन्होंने IG संजीव शुक्ला से गुहार लगाई, जिसके बाद IG के हस्तक्षेप से FIR दर्ज हुई और एक आरोपी को गिरफ्तार किया गया।

दुबे की पुश्तैनी जमीन ग्राम खमतराई स्थित है, जिसे आरोपियों ने जाली दस्तावेजों के जरिए बेच दिया। आरोप है कि भैयालाल सूर्यवंशी (पचरीघाट), अनुज मिश्रा (राजकिशोर नगर), राहुल पटवा (जरहाभाठा) और अभिषेक दुबे (मंगला) ने षड्यंत्र कर जमीन का फर्जी पंजीयन कराया। दुबे ने राजस्व अधिकारियों की मिलीभगत का भी आरोप लगाया है।
“शनिवार-रविवार की रात FIR दर्ज की गई। दस्तावेजों की जांच जरूरी थी”
यह मामला सामने आने के बाद अन्य पीड़ितों ने भी सवाल उठाए हैं कि क्या उनके मामलों में भी अब सुनवाई होगी। लोगों का कहना है कि बिना दबाव या चढ़ावे के पुलिस कार्रवाई नहीं करती।
निलेश पाण्डेय, TI सरकंडा थाना, बिलासपुर: