
( रिपोर्टर — सुरज पुरेना )
बिलासपुर/कोरबा। छत्तीसगढ़ की राजनीति में उस समय भूचाल आ गया जब प्रदेश के वरिष्ठ आदिवासी नेता और पूर्व गृहमंत्री ननकीराम कंवर ने अपने ही भाजपा शासन व प्रशासन पर सीधा हमला बोला। उन्होंने कोरबा कलेक्टर अजीत बसंत को “हिटलर प्रशासक” करार देते हुए भ्रष्टाचार, घोटालों और कार्यकर्ताओं को नाहक परेशान करने के गंभीर आरोप लगाए। कंवर ने साफ चेतावनी दी कि यदि तीन दिन में कलेक्टर का स्थानांतरण नहीं किया गया तो वे धरने पर बैठेंगे।
पूर्व गृहमंत्री कंवर ने मुख्यमंत्री निवास के एक सचिव पर कलेक्टर को संरक्षण देने के भी संगीन आरोप लगाए। उन्होंने कहा कि शिकायत करने के बाद से उनके कार्यकर्ताओं और समर्थकों को टारगेट किया जा रहा है, जो लोकतांत्रिक व्यवस्था पर सीधा हमला है।
गौरतलब है कि ननकीराम कंवर भाजपा की सत्ता वापसी के रणनीतिकारों में माने जाते हैं। उन्होंने पीएससी घोटाला, कोयला घोटाला, डीएमएफ घोटाला, शराब घोटाला, सीजीएमएससी दवाई खरीदी घोटाला, महादेव सट्टा एप घोटाला और जल जीवन मिशन जैसे कई बड़े घोटालों को उजागर कर केंद्र सरकार से कार्रवाई की मांग की थी। इन मामलों में केंद्रीय एजेंसियों की जांच से भाजपा को जनता का समर्थन मिला और पांच साल बाद पार्टी सत्ता में लौटी।
लेकिन अब कंवर की नाराजगी ने भाजपा में अफसरशाही प्रेम और अंदरूनी कलह को उजागर कर दिया है। उनकी यह हुंकार न केवल सरकार और प्रशासन के लिए चुनौती है बल्कि आने वाले दिनों में प्रदेश की सियासत को भी नई दिशा देने वाली साबित हो सकती है।