बिलासपुर पुलिस की बड़ी कामयाबी: पुरानी रंजिश में हुए नृशंस ‘अंधे कत्ल’ का 03 दिनों में पर्दाफाश!
युवक की हत्या कर शव को तालाब में फेंकने वाले दो आरोपी गिरफ्तार
बिलासपुर, छत्तीसगढ़। बिलासपुर पुलिस ने एक चुनौतीपूर्ण ‘अंधे कत्ल’ की गुत्थी को महज़ तीन दिनों के भीतर सुलझाकर बड़ी सफलता हासिल की है। यह मामला कोटा थाना क्षेत्र के ग्राम घोड़ा मार का है, जहाँ एक युवक की निर्मम हत्या कर उसके शव को पत्थर से बांधकर तालाब में फेंक दिया गया था।
घटनाक्रम का संक्षिप्त विवरण
दिनांक 01.12.2025 को कोटा थाना में धीरज साहू (उम्र 26 वर्ष, निवासी ग्राम घोड़ा मार) की गुमशुदगी की रिपोर्ट दर्ज की गई थी। धीरज 30.11.2025 की रात अपने पोल्ट्री फार्म में सोने गया था, जिसके बाद वह रहस्यमय तरीके से गायब हो गया। उसके मोबाइल का बंद होना इस मामले को और भी संदिग्ध बना रहा था।
गुमशुदगी के लगातार प्रयासों के बीच, दिनांक 7.12.2025 को ग्राम घोड़ा मार स्थित बाँधा तालाब में एक अज्ञात शव संदिग्ध अवस्था में मिला।
वरिष्ठ अधिकारियों की तत्परता और जांच टीम का गठन

घटना की गंभीरता को देखते हुए, वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक बिलासपुर श्री रजनेश सिंह (IPS) ने त्वरित कार्रवाई के निर्देश दिए। तत्काल अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक ग्रामीण डॉ. अर्चना झा और एसडीओपी मस्तूरी श्री लालचंद मोहले के नेतृत्व में एक विशेष जांच टीम घटनास्थल पर पहुंची। फोरेंसिक साइंस लेबोरेटरी (FSL) और डॉग स्क्वायड को भी मौके पर बुलाया गया।
मृतक की पहचान गुमशुदा धीरज साहू के रूप में हुई। पोस्टमॉर्टम की प्रारंभिक (शॉर्ट) रिपोर्ट में हत्या की पुष्टि होते ही, थाना कोटा में भारतीय न्याय संहिता (BNS) की धारा 103(1) और 238 के तहत अपराध पंजीबद्ध कर विवेचना शुरू की गई।
तकनीकी विश्लेषण और पूछताछ बनी सफलता की कुंजी
इस जघन्य हत्याकांड को सुलझाने के लिए थाना कोटा पुलिस और एंटी क्राइम एंड साइबर यूनिट (ACCU) की संयुक्त टीम ने मोर्चा संभाला। जांच के दौरान, टीम ने निम्नलिखित अभूतपूर्व कदम उठाए:
- सीसीटीवी कैमरों का अवलोकन: घटनास्थल और मुख्य मार्गों के सैकड़ों सीसीटीवी फुटेज का अत्यंत बारीकी से विश्लेषण किया गया।
- तकनीकी विश्लेषण: मृतक के संपर्क में रहे हज़ारों मोबाइल नंबरों का तकनीकी विश्लेषण किया गया, जिसने जांच को एक निश्चित दिशा दी।
- सघन पूछताछ: मृतक के परिवारजनों, मित्रों और संबंधित व्यक्तियों से लगातार पूछताछ की गई।
तकनीकी विश्लेषण के आधार पर, पुलिस ने दो व्यक्तियों— अनिल साहू और जगन्नाथ उर्फ अंगद साहू— को संदेह के घेरे में लिया और उनसे कड़ाई से पूछताछ की।
रंजिश का खुलासा और अपराध की स्वीकृति
पूछताछ में दोनों संदिग्धों ने अपना जुर्म कबूल कर लिया। आरोपियों ने बताया कि लगभग एक वर्ष पूर्व मृतक धीरज से हुए विवाद के कारण अनिल साहू के मन में गहरी रंजिश थी। इसी रंजिश का बदला लेने के लिए उसने अपने साथी जगन्नाथ उर्फ अंगद साहू के साथ मिलकर हत्या की साजिश रची।
30.11.2025 की रात लगभग 11:30 बजे, दोनों आरोपी मोटरसाइकिल (CG 10 BG 1727) से धीरज के पास पहुँचे। मोटर पंप निकालने के बहाने उसे बुलाया गया और फिर दोनों ने मिलकर चाकू से उसकी हत्या कर दी। साक्ष्य मिटाने के लिए शव पर पत्थर बांधकर उसे बाँधा तालाब में फेंक दिया गया। आरोपियों ने हत्या में प्रयुक्त हथियार, मृतक के कपड़े और मोबाइल को कोरी डेम में फेंकने की बात भी स्वीकार की।
⚖️ गिरफ्तारी और न्यायिक रिमांड
साक्ष्यों और आरोपियों की स्वीकारोक्ति के आधार पर, पुलिस ने आज दिनांक 11.12.2025 को दोनों आरोपियों को गिरफ्तार कर लिया।
- (01) अनिल कुमार साहू (उम्र 28 वर्ष)
- (02) जगन्नाथ उर्फ अंगद साहू (उम्र 18 वर्ष)
अपराध में प्रयुक्त मोटरसाइकिल (CG 10 BG 1727), चाकू और पत्थर को जब्त कर, दोनों को न्यायिक रिमांड पर भेज दिया गया है।
यह सफल पर्दाफाश थाना प्रभारी निरीक्षक तोप सिंह नवरंग, एसीसीयू प्रभारी निरीक्षक अजहरुद्दीन और संपूर्ण टीम के उत्कृष्ट समन्वय, तकनीकी दक्षता और अथक टीमवर्क का परिणाम है।


