साधु वासवानी सेंटर बिलासपुर द्वारा शाकाहार जागरूकता रैली
बिलासपुर में साधु वासवानी सेंटर ने दादा साधु वासवानी जी के अवतरण दिवस (25 नवंबर) से पूर्व, संत सांई लाल दास जी के सानिध्य में एक विशाल शाकाहारी रैली का आयोजन किया। इस रैली का मुख्य उद्देश्य लोगों को शाकाहार अपनाने और मांसाहार का त्याग करने के लिए प्रेरित करना था

🎉 कार्यक्रम का शुभारंभ और सम्मान
कार्यक्रम की शुरुआत धन गुरु नानक दरबार में हुई, जहाँ संस्था के सदस्यों भाई राजेंद्र और पप्पू भाई ने विश्व कल्याण के लिए अरदास की। दरबार के प्रमुख सेवादार भाई सोनू लालचंदानी, नरेश मेहरचंदानी और गंगा राम सुखीजा ने संस्था के प्रमुख डॉ. रमेश कलवानी, सपना कलवानी, नानक पंजवानी, चित्रा पंजवानी, और डॉ. हेमंत कलवानी का शॉल ओढ़ाकर सम्मान किया। संस्था ने भी भाई सोनू का सम्मान किया।

रैली शुरू होने से पहले, सिंधु विद्या मंदिर सिंधी कॉलोनी स्कूल के सभी बच्चों को धन गुरु नानक दरबार की ओर से पूरी-सब्जी का प्रसाद व नाश्ता वितरित किया गया। संस्था के सदस्यों ने दादा साधु वासवानी और दादा जैपी वासवानी जी की तस्वीरों पर पुष्प अर्पित कर दीप प्रज्वलित किया और आरती की, जिसके बाद रैली का शुभारंभ हुआ।

🚶♀️ रैली का स्वरूप और संदेश
रैली में सबसे आगे स्कूल के बच्चे थे, जिन्होंने शाकाहार का संदेश देते हुए बैनर ले रखे थे। उनके पीछे महिलाएं भजन-कीर्तन और गीत गाते हुए चल रही थीं, जो लोगों को शाकाहार अपनाने के लिए प्रेरित कर रहा था।
डॉक्टर अभिषेक कलवानी, डॉक्टर रौनक कलवानी और डॉक्टर सोनल कलवानी भी इस रैली में शामिल हुए। उन्होंने लोगों को यह महत्वपूर्ण संदेश दिया कि शाकाहार अपनाने से शरीर को कई विटामिन मिलते हैं और यह स्वस्थ और तंदुरुस्त रहता है, जबकि मांसाहार कई बीमारियों का कारण बनता है।
💬 सांई लालदास जी का भावनात्मक आग्रह
झूलेलाल मंदिर चकरभाटा के संत सांई लालदास जी ने विशेष रूप से उपस्थित होकर दादा साधु वासवानी जी के संदेश को घर-घर तक पहुँचाने का निवेदन किया। उन्होंने लोगों से 25 नवंबर को दादा के जन्मोत्सव के दिन मांस और मदिरा का सेवन न करने का आग्रह किया।
उन्होंने मार्मिक रूप से समझाया:

“जब हमारे शरीर में एक छोटी सी सुई चुभती है, तो बहुत तकलीफ होती है। आप खुद सोचें, जब किसी जानवर को काटा जाता होगा तो उसे कितनी तकलीफ हो रही होगी! भगवान ने हमें इंसान बनाया है, इसलिए हमें इंसानों जैसा व्यवहार और भोजन करना चाहिए। शाकाहारी भोजन करने से हमारा मन भी शांत और सुंदर रहेगा, जबकि मांसाहार हमें राक्षसी प्रवृत्ति जैसा अनुभव कराएगा और गलत कार्यों की ओर प्रेरित करेगा। इसलिए, शाकाहार अपनाकर अपने मन और शरीर को स्वस्थ और सुंदर बनाएं।”
🛑 रैली का समापन और सामूहिक संकल्प
रैली नगर भ्रमण करते हुए स्मार्ट रोड पर नानक पंजवानी के निवास स्थान पर समाप्त हुई। यहाँ संस्था के सदस्यों द्वारा सांई जी का सम्मान किया गया, और सभी उपस्थित लोगों के लिए स्वल्पाहार की व्यवस्था की गई थी।
संस्था के प्रमुख रमेश कलवानी, सपना कलवानी, चित्रा पंजवानी, नानक पंजवानी, ज्ञान पंजवानी, राजू कलवानी, और हेमंत कलवानी ने पुन: आग्रह किया कि सभी लोग 25 नवंबर को मांसाहार का त्याग करें और दादा के प्रेम और शाकाहार के संदेश को अपने पड़ोसियों तक पहुँचाएँ।
दादा साधु वासवानी जी का मूल संदेश था: “सबसे प्यार करो, चाहे वह इंसान हो या जानवर।” उन्होंने कहा कि सजीव वस्तुओं में भगवान होते हैं, इसलिए उनका सम्मान करना भगवान से प्रेम करने जैसा है। उन्होंने अभिभावकों से यह भी आग्रह किया कि वे अपने बच्चों को मांस कटाई स्थलों पर एक बार ले जाएं, ताकि वे उस क्रूरता को देखकर स्वयं मांसाहार से विमुख हो सकें और दूसरों को भी प्रेरित करें।
🙏 सहयोग और मीडिया कवरेज
इस पूरे कार्यक्रम को सफल बनाने में दादा साधु वासवानी सेंटर बिलासपुर के सभी सदस्यों, जिनमें सरिता पंजवानी, नवीन पंजवानी, राजेश कलवानी, अंजलि रोजवानी, राजकुमार कलवानी, डॉ. अंकित, श्रुति, पूजा, लता, प्रांजल, और पलक शामिल हैं, का विशेष सहयोग रहा।
इस महत्वपूर्ण जागरूकता रैली को कवर करने के लिए हमर संगवारी के प्रधान संपादक विजय दुसेजा और सीजी क्राइम रिपोर्टर के कुमार पोपटानी विशेष रूप से उपस्थित थे।


